रेत में वृन्दावन | Ret Men Vrindavan
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
522 KB
कुल पष्ठ :
102
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)सहचरी
तुम्हीं ने मुझे
प्रपने प्रतीक बिम्वों से
तादात्म्य कर
कभी भनन््याय प्रतिरोधी
कभी सिद्धान्तवादी
कभी ग्रत्तम खी भोर
कभी बहिम्ु खी बनाया है ।
झपने दर्दे के सागर
और श्राँसुप्रों के सेलाब को छुपा
सबकी सतरंगी खुशियों के लिए
समर्पिता होना सिखाया है
तुम्हारे गहंनतम रहस्यों को
तुम्हारी मधुरिमा और उपदेशों को
जानकर भो
कौन जान सका है
धो, मेरी प्रकृति सहचरी ।
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