मुट्ठी भर उजियालों | Mutthi Bhar Ujiyalon
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
425 KB
कुल पष्ठ :
88
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)म्हारै असूलां
म्हारी सभ्यता
म्हारी संस्कृति
अर म्हारै मिनखापणै री
इमारतां री नीवां ने
आपरे तीखे पंजां सूं
कर देवे पोलीफस
खोखली
अर कदे, जद
पड़ जावे
ये इमारतां
भरभराय
उण बखत्त, म्हैं मिनख
वण जावूं हूँ
मिनख दांई
दीखण आव्ही
एक जिनायर।
मुट्ठी भर उजियाडी / 23
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