षटखंडागम | Shatkhandagam
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
10 MB
कुल पष्ठ :
406
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
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विपर्यसूची १५
एक सूक्म जीयफी अपेक्षा दूसरे सुश्म जीयकी, सूकम जीयकी अपेक्षा वादर जीयफी
तया वाद् जीपी अपेक्षा सदन जीयरी अयगादना सम्द धी.सुगावारपिशेषाका
उच्येख ।
सच्छिदारा अपगाइनामेदोंफि स्वामियोका निर्देश । ७१
६ वेदनाकारविधान
बेदनाकाठप्रिधानमें ज्ञातन्य ३ अनुयोगद्वारोका उस्लेगव करते हुए काठके ७ मूल-
मेदो उन्टेख करते इए वाचके ७ मूलभेदौ एव उत्तर मेदोग स्वन्य । ७५
पदमीमासा आदि उक्त ३े अलुयोगद्वारोंका नामोल्लेख ७७
( पदमीमासा )
पदमीमामामे वाटी अपेश्ता ज्ञानायरणीयतरेदना सम्बधी उत्दप्टअनुह्ट आदि
१३ प्दोंकी प्ररखणा ७८
शेप ७ वर्मोकी काख्वेदनाकि उक्त १३ पर्दोगा पिचार ८५
(स््ामित्र )
स्वामियके जब य उ उक्ष पदमिपयङ २ मेदोरा निर्दा
जघन्यो पिषयमै नामादि निक्ष्ोकी योजना ५
उ्ृष्ट विपयम नामादि निमेपोंगी योजना ८६
काख्यी अपे ता उक जञानापरणीयरेदनके स्वामीकी प्रया ८८
काली अपभा अनिर मेदोमिं पिभक्त अनुरषट जञानापरणीयतेदनक स्ामियोगी
प्रस्पणा ९
प्रम्यणा आदि ६ अनुयोगढमरोमेः दरार उक्त अनुद स्यानपिर््योकः स्वामिरयोरी
प्ररूपणा 1 १०८
झानायरणीयक ही समान देष ६ करमौकी मी उद्टृष्ट अनुकृष्ट वेदना उतगकर्
आयु कर्मी उरुष्ट काठ्येदनके स्वामीरा निरूपण । ११२
फाटङी अक्षा अयु करम सम्बधी अनुकृष्ट वेदनावी प्रूपणा | ११६
वाटकी अक्षा जघन्य ज्ञानापरणीयत्रेदनाके स्वामीका निवेचन । ११८
काकी अपिश्ना अनघन्य ज्ञानापरणीयवेदनाके स्वामिमेरदोरी प्र पणा । १९०
द्नामरणीय जीर अ तराय सम्बधी जघन्य व अजय य बेदनार्ओी ज्ञानापरणसे
समानताका उव |
द्
पटरी अपेभा जघन्य वेदमीयरेदनासि स्वामीका निर्देश । #
बेदनीयकरी अजघन्य वेदना स्वामीफी प्रस्पणा { १६६
आधु, नाम ओर् गोम सम्बधी जघन्य अजपन्य काट्वेदनाओरी वेदनीयवेदनासे
समानतारा उल्लेख । १३४
ठगी अपेला जघन्य य अतधन्य सोहनायतेदनाओंकि स्वामियोका उत्छेय ११५
(अखगदुव }
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