विज्ञान लोकप्रियकरण : प्रारंभिक प्रयास | Vigyan Lookpriyakarana Prarambhik Prayas
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
20 MB
कुल पष्ठ :
219
श्रेणी :
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डॉ शिवगोपाल मिश्र - Dr. Shiv Gopal Mishra
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दिनेश मणि - Dinesh Mani
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)४111 विज्ञान लोकप्रियकरण : प्रारम्भिक प्रयास
विज्ञान प्रसार ने राष्ट्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी संचार परिषद् (एन सी एस
टी सी) से मिल कर अनेक कार्यक्रम आयोजित किए जो इस प्रकार हैं :
७... तिधार्थियों और शिक्षकों के लिए टेलिस्कोप (दूरदर्शी) बनाने
की कार्यशालाओं का आयोजन।|
७... पुस्तकें, पूर्ण सूर्यग्रहण पर एक चार्ट और बच्चों के लिए एक
एक्टिविटी किट तैयार करना 1
#&..... उनेक वीडियो फिल्मों का निर्माण और उनका प्रसारण |
विज्ञान प्रसार ने यह सुनिश्चित करने की एक नयी संकल्पना की कि लोग
पूर्ण सूर्यग्रहण को देखने के लिए घरों से बाहर निकलें, और उसने इस
_ संकल्पना को कार्यान्वित भी किया। इस के लिए विज्ञान प्रसार की
तरफ से पूर्ण सूर्यग्रहण संबंधी एक शपथ-पत्र परिचालित किया गया जिसे
देश के कोने-कोने से अनेक लोगों ने भर कर अपने हस्ताक्षरों सहित वापिस
भेजा | अनेक व्यक्तियों और स्वायत्त संस्थाओं ने इस शपथ-पत्र को स्वयम्
ही क्षेत्रीय भाषाओं में अनूदित कर बड़ी संख्या में आम जनता के बीच
वितरित किया । इन सभी कार्यवाहियों से इस सिलसिले में पूरे देश में एक
हलचल-सी मच गयी | विव प्रव, एन सी एस टी सी तथा अन्य संस्थाओं के
मिलें जुले प्रयासों के फलस्वरूप एक ऐसी स्थिति पैदा हो गयी कि पूर्ण
सूर्यग्रहण की इस अनोखी घटना को देखने के लिए घरों से लाखों लोगों की
भीड़ बाहर निकल आई । असंख्य लोगों द्वारा इस प्राकृतिक घटना को देखा
जाना एक अनुपम अनुभव था जिस से पूरे देश में विज्ञान प्रसार का नाम
घर-घर तक पहुंचा |
अपने द्वश्य-श्रव्य कार्यक्रम के अंतर्गत विज्ञान प्रसार ने 24 अक्तूबर 1995 के
पूर्ण सूर्यग्रहण के अवसर पर वीडियो फिल्मों के एक सेट तथा अनेक रेडियो
कार्यक्रमों का निर्माण किया। विज्ञान प्रसार द्वारा इस धटना पर आधारित
किए गये प्रयास वृहत् रूप से विज्ञान प्रसार परिवार के लिए बहुत संतोषजनक
सिद्ध हुए जिनके प्रति आम जनता की प्रतिक्रिया भी बहुत उत्कृष्ट और
सराहनीय रही |
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