लखनऊ मंडल में राष्ट्रीय आन्दोलन | Lucknow Mandal Me Rashtriya Andolan
श्रेणी : साहित्य / Literature
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
25 MB
कुल पष्ठ :
230
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
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उस समय किसी ने भी यह न समझा पैक लखनऊ समझौते में कागिप्त ने एक ऐसे सिद्टान्त
को पतिह्लार्थाल दे दी थी नो उसके पैल््थे 1918 से पहले अत्यत महत्वपूर्ण था और बाद में
भी रहा । वह सिद्टान्त था कि भारत हहिन्दु और मुसलमान का संयुक्त रूप है ।
साम्प्रदाधधिक प्रीतानाधित्व गण्यता के सिद्ान्त तथा विधान महल में साम्प्रदाधयिक रनिलेंधा-
विकार की स्वीकुति कांग्रेस नेताओ की भयकरतमू मुल लि हुई । अंगिनो ने कारेस स्व
लोग प्रेषित वैधानिक सुधानों को अवहेलना' करके उपसुक्त साम्प्रदायिक समझौता स्वीकार
कर लिया और महायुद्र के पचातृ उन्होंने भारत में थो धारावापडिक सुधार आरम्भ किये
थे, उनकी अगली पकस्त में उसे लागू कर दिया । ल्दन के नीति निर्माता इस देखा के
दो प्रमुल सम्प्रदाय में वैमन्य पैदा करना चाहते थे तथा अलग मतदाता सुरचियाँ उन्हें अपना
मनोरम पद करने का अच्छा उपकरण प्रतोत हुआ |
तत्कालीन कांग्रेसी नेताओं के बचाप में केवल यह कहा जा सकता था पक वे मुसलमानों
कों दो गयो ररयासतों को केवल अस्थायी मानते थे और उन्होंमें कॉंग्रेस और मुस्लिम लोग
के बोच मन-झुदाव दुर करने का प्रयत्न कया था ।. कदाएँचत उन्हे यह आशा थी कक मो
मुसलमान लीग के सदस्य बन ग्ये थे, उनके शक बार कॉंग्रेस के फ्रमाव में आते हो, किस
हिन्दु मु्तिम श्कता की स्क पारियोलना बनाकर उनमे परस्पर सह्योग का वातावरण स्थिर
करने में सफल हो न्ायेंगो ककिन्सू राष्ट्रीय आदोलन के नेताओं को घोर निराशा हुई और
1१20 के दधाक में मुहिम लीग काेस के निकट आने की बनाय पुर होती गयो । लीग
का साम्प्रदापयिकता' के आगे ब्ुकना और भारत राष्ट्रीयता' के मौलिक प्रश्न के प्रीति समता
देश के प्रति अत्यत हानिकारक सिद्ट हुए ।. स्मेप्रापन्द्र मबपार मे अपना मत व्यक्त करते
हुए कहा है 1918 में कांग्रेस ने जो कार्य किया उसने 30 वर्ष बाद वास्तविक सूप से
पाकि्तान की आधारपिल्ला स्थाधित की*--
संपुक्त प्रांत में तीव्र गाँत से चल रहे आंदोलन में सुतल्मान कांग़ेस के साथ थे ।
जनवरी 1917 में तत्कालीन लम्टिमेंट गवर्नर ने मुसलमानों को चेतावनी दो फेक ये शेता
करेंगे तो उनके प्रसम्प्रदाथ के हितों को हानि पहुँपेगी 1' 15 बुम 1917 को मद्रास मैं
श्रीमती रैनीचेंसिंट कह पगरफ्तारों से उत्तर प्रदेश के पिलों में रोध की तडहर व्याप्त हो गयी
अनेक स्थानों बर सपाओं का आयोजन करके सरकारी नीतियाँ की आलोधना की य्यो ।
वि मैं छवाप्स लगन उत्कना' को बात करने के पलये, नये भारतीय सचिव मांदेग्यु
कि पी
+ पद बायानियर 28 लनवरी 1१17, बू8 2
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