मार्गानुसारी ३५ गुण विवरण | Marganusari 35 Guna Viveran

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Book Image : मार्गानुसारी ३५ गुण विवरण  - Marganusari 35 Guna Viveran

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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

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{१1 चघार्मिक-साहित्य पढ़ने को रुचि पैदा करना, सुमस्कार को नींव मजयूत कर, नैतिक जीबन को ठोस थनाना अति झावश्यक दै । शख अनिवायं भावरयश्ता छी पृतिं के छिये, लाप झाज टी-- श्रीमदुचिजय यतीन्द्सखूरि जैन साहित्य कार्यालय ११, जूनी कसेरा याखल इन्दीर फे वापि पाक्‌ यनियेगा । कार्याउय के पाइक घनना मानों श्याम के भाम गुठलीं के दाम यदद कार्यारय आपने प्रतिदपे पांच सपय तेता है भर्थान्‌ भति दिन करीवन ढाइ पाई, इसके मदढे में आपको ढाई सौ ऐप्ट का सुदर प्रगतिशीठ सादित्य मिलेगा । साथ ही भाप लोगों का पूर्ण सहयोग मिठने पर इससे भी भषपिक सामग्री देने को द्ार्दिक मावना दे । जापकं सदार सदयोंग से सादिस्य प्रचार सौर शरुत-मठ् ज्ञान भाराघना का शपुवं खभषश्षेगा। शान वद्धि दौ खम्यक्त्व की निम॑खवा का प्रमुय सावन |




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