महामना प॰ मदनमोहन मालवीय | Mahamana P. Madanamohan Malaviy
श्रेणी : इतिहास / History
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
5 MB
कुल पष्ठ :
108
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)[ ७ |
इस समय श्रापकी चार खंतानें हें । उनमें से बड़े का नाम
परिडत रमाकान्त मालवीय 'है । आप प्रयाग में वकालत करते
हैं। दो पुत्र बम्बई में व्यापार करते हैं । सब से छोटे परिडत
गोविन्दकान्त मालवीय पएम० ए०, एल-पएल० बी हैं जो विशेष
कर अपने पिताजीके साथ ही रहते हें । श्राप बड़े उत्साही
नवयुवक हैं । ग़रीब श्रौर दुःखी विद्याथियो के सहायतां
आप सबंदा सच हृदय से तैयार रहते हैं । झाप बड़े स्वदेश-
भक्त हे ।
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