भारतीय संविधान में धर्म की भूमिका | Bhartiya Samvidhan Mein Dharm Ki Bhumika

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Bhartiya Samvidhan Mein Dharm Ki Bhumika by साधना राय - Sadhana Ray

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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

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// 13// | | 51] भाजपा के वरिष्ठ नेता मुरली मनोहर जोशी के चुनाव को दी गयी चुनोती के सम्बन्ध में सर्वाच्च न्यायालय के निर्णय का उल्लेख । तथा अन्त मैं 6 दिसम्बर 1995 को अयोध्या कॉड की बरसी के अवसर पर अमन पसन्द प्रनितर्यो की किरकापरस्त शवित्ोँ पर विजय इत्यादि घटनाओं का विस्तृत अध्ययन एवं विश्लेषण का प्रयास किया गया है । सातवे अध्याय में इन सभी विषयों के अध्ययन के पश्चात्‌ कुछ उन. मुलभूत निष्कर्षा को तलाशने का प्रयास किया गया है जिनको आधार बनाकर भारतीय राजनीति को सही दिशा प्रदान कर सकते हे ओर देश पुन: प्रगति एवं विकास के उच्च आयामों तक पहुँच सकता है । में उन सभी रचनाकारों के प्रति आभार व्यक्त करती हूँ जिन्होंने. तात्विक या भावनात्मक रूप से इस शोध प्रबन्ध की सामग्री संकलित करने मैं सहायता प्रदान की है | मैं पं. जे. एन. कालेज के राजनीति विभाग के विभागाध्यक्ष तथा अपने निर्देशक डॉ. पी. एन. दीक्षित की ऋणी हूँ जिनके कृपा पूर्ण सौजन्य एवं सत्वर पथ -प्रदरन के अन्तर्गत यह शोध प्रबन्ध पर्ण करने भं समर्थ हो सकीरहू । वस्तुतः यहं समूचा शोध प्रबन्ध उनके ही योग्य ओर सक्षम निर्दशन का परिणाम है । ` ॥ि भ अपने पिता श्री आर. पी. राय (प्रवक्ता - राजनीति शास्त्र पं. जे. वम एन. कालेज) के प्रति अत्यन्त कृतज्ञ हूँ, क्योंकि उनके आशीवाद के परिणाम स्वरूप ही मँ शोध अध्ययन करने का साहस कर सकी हूँ । .




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