तत्वार्थसुत्र जैनागमसमन्वय | Tatwarth Sutram Jainagamsumnway
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
3 MB
कुल पष्ठ :
286
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)( ७ )
है ? इस विषय को स्पष्ट करने के लिये ही वर्तमान प्रन्थ
विद्वत्समाज के सम्मुख रखा जा रहा है । इसका यह भी
उद्देश्य है कि विद्वान् लोग आगमों के खाध्याय का लाभ
उठा सकें ।
इस प्रंथ में सूत्रों का आगमों से समन्वय किया गया
है । इसमें पहले तत्त्वाथेसृत्र का सूत्र, फिर आगम प्रमाण,
उसके पश्चात् उस आगम पाठ की संस्कृत छाया और अन्त
में श्रागम पाठ की भाषा टौका दी गई है, जिससे पाठकवर्ग
आगम और सूत्र के शब्द और अर्थो का भली प्रकार ज्ञान
प्राप्त कर सकें ।
सूत्रों के सामान्य श्र्थं इस प्रथ के श्रत में परिशिष्ट नं°
२ में दे दिये गये हैं ।
यहां यह बात ध्यान देने योग्य है कि इस ग्रन्थ में दिये
हए आगम प्रमाण आगमोद्धार समिति द्वारी मुद्रित हुए
आगमों से दिये गये हैं ।
पाठकों के सम्मुख सूत्र के पाठ से आगमसों के पाठ का
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