आजादी का पन्द्रहवां वर्ष | Aajadi Ka Pandrahvan Varsh

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Aajadi Ka Pandrahvan Varsh  by सूर्यकुमार जोशी - Suryakumar Joshi

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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

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पोजना की प्रगति है सम्बन्ध है १९६१-६२ में परस्पर सम्बन्धित करने वाली ७० मील छोटी सड़कें और कई बड़े पुल बनाए गए और मौजूदा ३ ०० मील लम्बी सड़क की मरमत को गई। १९६२-६३ में ७० मील छोटी सड़कों, १० बड़ें पुलों और ४०० मील' लम्बी मौजूदा सड़कों की मरम्मत शामिल हैं । १९६१-६२ में देश की सड़कों में ४, ० ०० मील लम्बी नई सड़कें शामिल हुई जब कि १९६२-६३ में আহা है कि अन्य ४,५०० मील हम्बी सड़कें तैयार हो जायेंगी । १९६१-६२ में लगभग ३६,००० वर्ष व्यापारिक गाड़ियां काम में लाई गई और अनुमान है कि ६२-६३ में अन्य ४० हजार गाधं का आडर दिया जाएगा । यदि इस्पात ओर विदेशी-विनिमय का प्रभाव नहीं होता तो निश्चय हो रेल और सड़क परिवहन के कार्यक्रमों में बहुत अधिक उन्नति हुई होती 1 रेलवे विकास कार्यक्रम की समीक्षा की गई है और रेलवे को मनन्‍्जूरी दी गई है कि वह कोयले के परिवहन सम्बन्धी कार्य को पूरा करने के लिए अतिरिक्त नर्द लाइनें बिछाएं। कोयला कन्ट्रोलर और खान व इंधन मंत्रालय द्वारा भावी मांगों को पूरा करने के लिए रेलवे द्वारा २७५ मील हरुम्बी दो,री लाइन बिछाई जाएंगी ताकि कोयले का परिवेहन आसानी से हो सके । साथ ही, कई (धजलीकरण कार्यक्रमों की प्रगति को बढ़ाने का कार्य-४।र भी रेलवे को सौपा गया है ताकि बिजली की उन्नत क्षमता का यथासम्भव छाभ उठाया जा सके । रेलवे द्वारा अपने कार्ये- क्रमों को पूरा करने के लिए जिस अतिरिक्त धन की आवश्यकता होती है वह वाधिक आधार पर प्रदान किया जाता है । मालडिव्ब बनाने के कार्यत्रम को बहुत ज्यादा बढ़ाया गया है और स्टील कासटिंग तथा अन्य सामान की वृद्धि देशी व विदेशी साधनों से करते की व्यवस्था को गयी है। कोयले के परि- वहन को अविलम्ब बढ़ाने के लिए रेलवे खास प्रकार के मालडिब्बे काम में ला रहा है। इन डिब्बों के प्रयोग से कोयले की खानों में सुविधा अनुभव को जा रही है । इस कार्यक्रम में खान व इस्पात मंत्रालय मदद दे रहा है । समाज सेवा १९६१-६२ में शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में काफो प्रगति हुई। १९६१-६२ में प्राइमरी स्कूलों में ३७.८ छाख बच्चे पढ़ते हैं। यह संख्या १९६०-६१ से १०.२ प्रतिशत अधिक और १९५५-५६ से ५० प्रतिशत अधिक । १९६२-६३ में आशा है कि ४.१५ लाख बालक प्राइमसे स्कूलों में शिक्षा पा रहे छोंगे जब कि तीसरी योजना के अन्तगंत १९६५-६६ में ४९.६ लाख बालकों को शिक्षा देने का अनुमान किया गया है। १९६१-६२ में डिग्री कालेजों में १५,२९९ छात्र शिक्षा पा रहे थे जब कि १९६ ०-६१ में १३,८६० और १९५५-५६ में ५,८९० विक्षार्थो थे । आजा है कि १९६२-६३ में १५,९४० विद्यार्थी डिग्री कालेजों मे होंगे जब करि तीमरी योजना के अन्तगत यह्‌ संख्या अनुमानतः १९.१४० होगी । १९५५-५६ में डाक्टरों की संख्या ६५.००० थी जो कि १९६ ०-६१ में ७१,५१० हो गयी और अब १९६०-६२ में ७४,५०० है और आशा है कि ६२-६३ में ७७,७१८ हो जाएगी जब कि तीसरी योजना के अन्तगंत १९६५-६६ मे ८१,००० डाक्टर तयार करने का रक्षय रला गया है । श्क्षा ओर स्वास्थ्य के क्षेत्र मे हुईं प्रगति नीचे दी বাধা ই:




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