स्वतंत्र भारत भाग ३ | Swatantra Bharat Part 3
श्रेणी : शिक्षा / Education
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
3 MB
कुल पष्ठ :
136
श्रेणी :
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लेखक के बारे में अधिक जानकारी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)शिक्षा की समस्या 11
वे केवल साक्षर ही नहों बल्कि शिक्षित भी हों। यदि हमारे देश के अधिकांश
नागरिक अशिक्षित रहेंगे तो उनमें राजनेतिक चेतना का अभाव होगा । ऐसी জা
में वे न तो अपने अधिकारों का समुचित प्रयोग कर सकेंगे और ল कर्तंब्यों की
पूति कर सकेंगे। स्वार्थी लोग भी उनके भोलेपन, उनकी निरक्षरता तथा
अंधविष्वासों से काभ उठाने का' प्रयत्न करेंगे।
कुछ छुकाव
अतः शिक्षा के प्रसार की गति को अधिक तीक्न करने की आवश्यकता है।
पाँच वर्ष से ग्यारह वर्ष को आयु तक के प्रत्येक बालक को स्कूल भेजा जाता हर
राज्य में अतिवार्य कर दिया जाएं। यह भी ध्यान रखा जाए कि जब बालक
शिक्षा पूरी कर चुके तो वह किसी काम में लग सके। शिक्षा के पाठ्यक्रम में भी
ऐसे सुधार हों कि शिक्षित नवयुवक बेरोजगार न रह सके। शिक्षा का स्तर उठाने
के लिए अधिक से अधिक शिक्षकों के प्रशिक्षण की व्यवस्था की जाए। शिक्षकों
के वेतन-क्रम में भी सुधार होता चाहिए जिससे देश के योग्यतम व्यक्ति शिक्षक
का कार्य करने के लिए आकर्षित हों ।
शिक्षा लोकतंत्र की प्राण है। शिक्षित नागरिक ही लोकतंत्र को आगे बढ़ा
सकते हैं । वे ही उसे वास्तविक रूप से जनता का राज्य बना सकते हैं जिसमें सबके
हितों की रक्षा समान रूप से हो और जिसका एकमात्र ध्येप जनकत्याण हो ।
अभ्यात्त के प्रश्न क्
1) शिक्षित नागरिक लोकतंत्र के लिए किस प्रकार अधिक लाभदायक होते हैं ?
2) हमारे देश में शिक्षा की अधिक तेजी से प्रगति क्यों नहीं हो सकी ?
9) व्यावसायिक तथा तकत्तीकी शिक्षा के क्षेत्न में हमारे देश में क्या प्रगति हुई है ?
4) प्रौढ़-शिक्षा के लिए क्या प्रयत्न किए जा रहे हैं ?
5) एक वाबय में उत्तर लिखो--
(क) चौथी पंचवर्षीय योजना मे शिक्षा पर ध्यय करने को करितेनी धनराशि
स्वीकृत की गई ? `
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