विश्व की कहानी | Vishwa Ki Kahani

Vishwa Ki Kahani  by अज्ञात - Unknown

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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

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_.... परंतु यह न समकना चाहिए . कि हमारा ...सूय ही सब से अधिक * ..ाकाशीय पिंड है । : ऐसे भी. तारे हैं; ..... जिनकी. . वास्तविक ब - छै,००,0००. सुना . . झाधिक . है । यदि दी 7... कहीं इमास, सर्य उन मा ... तारों की तरह चम-. सभी बस्तुएँ बाष्परूप _..... में परिणुत हो जायें साफार का नाप कन्लर नजनासात्पपतककपशफलमपागलनतरपैलवशततसमिलसलतायसिजकसनरिननमणरपकलाथ ' समकों में झाश्वयंजनक झंतर रहे सकता है। उदादरणसः -. इमारे आकाश का सबसे चमकीला तारा, लुन्घक, युग्म तारा. है । परतु उसका प्रायः सब प्रकाश प्रधान तार से हो . माग मां नहीं देता, क्याक उसका वास्तावक चमक बढ़त कम हैं ज्ञात राशियों. के पड ड . . झाघार पर गणना... ... द्य ट करने से पता बहता ....... गण है कि सूर्य से हमें उतना प्रकाश सि- लता ' है, जितना _ ैड००, ००, ०० ००६ व ; ६१, पु _ (१ छ. .. मास मर सदर श्र 0०, ०0०3 ०७, ७9७. तारेसिश्याया ._ मोमबत्तियों ! पाएं] ... बास्तविक चमकवाला री _. बमक सूय को शपेन्ा पा ... सब चण मर में जल. कर भस्म हो जायें .... इतना ही नहीं; प्रथ्वी .. श्और पृथ्वी पर की . तारों की चमक ......... तारों की वास्तविक चमकों में जो अंतर है, वह कया तारों के तापक्रमों पर निर्भर है, या उनके छोटे-बड़े होने पर, या दोनों कारणों पर ! तापक्रम का ज्ञान हमें तारों के थे मकान कललपलनिवलकलपमिानिनििलकिलकपस्टलफिटटडपननपिपननिपपकटपपककटपकपनविपपनरपएपलफपपयफानापॉपसफपटसपयरपनािपीपपलपपसकफालमिसलिपनटरसलदलपजडिटए पकिडपाकिकमकान भ्् ठ त्ाता है । इसका साथी तारा पूरे प्रकाश का दस हज़ारवाँ सूय की दरी श्र प्रत्यक्ष ' चमक हमें ज्ञात है। इन परदा तारों का व्यास नापने के लिए जिस विधि से कास लिया जाता है, उसका सिद्धान्त इस सानचित्र द्वारा प्रदर्शित किया गया है । इसी सिद्धान्त के बल पर इंटरफिशरोसीटर नामक उस यंत्र की रचना की गई है, जो सु० २१७४ के चित्र में प्रदर्शित है। म्रस्तुत मानचित्र को खमसने के लिए कर पु रा पृू० रश७प का सैटर पढ़िए । रंग से हो जाता है। लोहार को श्राग में लोहा तपाते हुए... सभी ने देखा होगा आर यह भी देखा होगा कि पहले लाहा _ बिना चमक के रहता हे ; फिर मंद लाल प्रकाश से वह चमः कता है । जब लोहा श्रोर तपाया जाता है, तब वह चठक लाल प्रकाश से चमकता है । झधिक तस. करने पर लोहे से नारंगी श्रार फिर पीला प्रकाश निकलने लगता है । लोहे. को साधारण मट्दी में अधिक गरम करना कठिन हे; पर ....... सभी ने देखा होगा व ५ छू -.... कि जब बैटरी की . शक्ति कम रहती हैं तब बिजली की बत्ती का तार केवल लाल... होकर रह जाता है। है. तब. तार सफ़ेद जब बैटरी नई रहती... रंग से चमकता है। यदि हम बत्ती के, तार... को. और गरम कर. सकते तो वदद श्र भी . चमकने लगता और उसके प्रकाश में नीलापन झा जाता । इससे गला है... कि चमक के रंग से... हम. ताफपक्रम. का... .. अच्छा ज्ञान कर सकते... हैं। आँका गया है. .. . . कि मंद लाल प्रकाश... . हा... से वमकरनेवालि तारों... _ कीला हो जायतो हम... तारों का व्यास चापने की विधि ............... को ताफम लगभग... २,५०० डिंगरी फ़ा० होता होगा! पीले तारों का. तापक्रम लगभग... ५००० डिगरी फ्रा० होगा | सूय का ताप- . क्रम इसका लगभग . .. दूना होगा । तसतम तारों का तापक्रम संभवत ७०,०००... डिगरी होगा । ये तापक्रम इतने अधिक हैं कि प्थ्वी .पर बेसे तापक्रम किसी भी प्रकार उत्पन्न नहीं किए जा सके हैं।. . बिजली की भड्डी का. भी . तापक्रम दे,००० डिगरी फ़ा०्से




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