निबन्ध निकुंज | Nibandh Nikunj
श्रेणी : निबंध / Essay, साहित्य / Literature
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
134.4 MB
कुल पष्ठ :
360
श्रेणी :
यदि इस पुस्तक की जानकारी में कोई त्रुटि है या फिर आपको इस पुस्तक से सम्बंधित कोई भी सुझाव अथवा शिकायत है तो उसे यहाँ दर्ज कर सकते हैं
लेखक के बारे में अधिक जानकारी :
No Information available about शिव प्रसाद अग्रवाल - Shiv Prasad Agrwal
पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)४] 21 2 रे _. [ सूमिका
_ कुी-कभी किसी बात को जोरदार बनाने के लिए उसे प्रश्न-
वाॉंचक वाक्यों में लिखते हैं अथवा विस्मय-सूचक घाक्य में । जैसे
(१) ज्ञान-प्रसार सें किस अकार विदेशी आाषा सोठ-भाषा की अपेक्षा
सफल हो सकती है ? (२) कैसे रसणीय; केसे सुद्दावने; केसे सुन्दर
श्य हैं ! यदि इस बाक्यों को साधारण रूप में-(१) ज्ञान-प्रसार में
विदेशी साषा, साव-साषा की अपेक्षा सफल नहीं हो सकती है,
(९) दृश्य रसणीय; सुन्दर ौर सुद्दावने हे-रख दिया जाय सो ये
शिधथिल हो जायेंगे । कहीं-कडीं वाक्यांश या वाक्य के आारस्स
अथवा अन्त में एक ही शब्द या शब्द-समूह का बार-बार प्रयोग
करने से भी साषा में अच्छी शक्ति था जाती है । जेसे--(१) जब
सिट्टी से रत्न पद करने वाला सोन तपश्वी किसान भर-पेट सोजन
पायेगा, जब उसे शरीर ढकने को वस्त्र मिलेगा; तभी यह देश पुनः
अपनी प्राचीन समंद्धि को शप्त करेगा; तभी यह देश पुन: घन-
घान्य से अट जायेगा; तभी यह देश पुनः अपनी खोडे हुई लदमी
को श्राप्त करेगा । (२) भारतवष को एक राष्ट्र बनाने वाले आप
ही हें। भारतवष में जायति करने वाले आप ही हैं। भारतमाता
की सूखी नसों सें रक्त का संचार करने वाले आप ही हैं । देश के
_ स्त्री; पुरुष, बालक और बृद्ध सबके हृद्य-सम्राद आप ही हैं |
निवन्ध का सॉद्य अल्क्लारों के प्रयोग से बढ़ जाता है, पर
.. उनकी भरसार अच्छी नहीं । जहाँ जो झलडझ्लार स्वतः विचार-प्रचाह
. में आ जायें; उन्हीं को निवन्ध सें स्थान दिया जाय | सिर ख़ुजला-
खुजल्लाकर रचना में अलझ्लार विदाना ठोक नहीं है। उपसा, उस्प्रेक्षा,
रूपक झाद़ि साइश्यमूलक अलझार भावों को स्पष्टता प्रदान करते
_ है । अत! उनका प्रयोग करना चाहिए। किन्तु स्मरण रहे कि
उलझारों का प्रयोग करना सरल नहीं वह्दी विद्यार्थी उनका
योग करे जिसे उनका ठीक ज्ञान हो ।
. निबन्ध में मुहावरों तथा लोकोक्तियों का यथा-स्थान प्रयोग
. .. झोना चाहिए । इससे उसमें रोचकता झा जाती है । जैसे-''विदेशी
User Reviews
No Reviews | Add Yours...