ग्राम - संस्कृति का अगला चरण | Gram Sanskriti Ka Agala Charan
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
2 MB
कुल पष्ठ :
162
श्रेणी :
हमें इस पुस्तक की श्रेणी ज्ञात नहीं है |आप कमेन्ट में श्रेणी सुझा सकते हैं |
यदि इस पुस्तक की जानकारी में कोई त्रुटि है या फिर आपको इस पुस्तक से सम्बंधित कोई भी सुझाव अथवा शिकायत है तो उसे यहाँ दर्ज कर सकते हैं
लेखक के बारे में अधिक जानकारी :
पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)अनुक्रमणिका
অই योगकी नवीन सस्हृति काका काडेलकर ३
३. संस्कृति दे
आजके गावोंका चित्र ३; दुरवस्थाके कारण ४;
राष्ट्रको गाधीजीकी सबसे महान देन ५; कर्म शिक्षा-
भूछक और गोखवपूर्ण हो ६; (१) स्वरोजी ६, (२)
सामाजिक प्रतिप्ठा ६; (३) नीरसतारा सवाल ८;
(४) किसान ९, (५) कारीगर १०, (६)
स्तिया १२, निवासकी स्थिति १३, सामाजिक वाता-
वरण १७, (१) अत्योदय १७; (२) सामाजिक
सुरक्षा १९, (३) स्वास्व्यकी योजना २०; (४)
शिक्षावी व्यवस्था २०; (५) निश्चित रोजगारी
२१; (६) सामाजिक व्यय २१, मनुप्यक्रे समग्र
विकासका उद्देश्य २२, उच्चतर सगठन २६; उच्च
दग भौर जनतामें सामजस्य २८, नयः सन्नुखन ३०;
भामाजिक् प्रभाव ३१, मास्टतिक विकाम ३१
२. उच्चतर समठन
नये सतुलनके साथ विस्तार ३३; समाजवादी
बल्पाण-राज्यक्रे बदले सहवाारी पचामती राज्य ३४,
स्वध्रयौ और सहकारी क्षेत्र ३४, सुश्रखलित व्यवस्था
३५, गावोमे उत्पादक ही उपभोक्ना दं ३६, मयुक्त
संगठन द्वारा ग्याययुक्त व्यवहार ३७, ढाचा ३८,
वित-व्यवस्था ४०, राज्य सहकारी मडइछ ४०, (१)
गाधीजीकी सांगरबृत्तवाली समाज रचना ४१, (२)
कार्य-पद्धतियोंक्रा क्रमिक सुधार ४३, (३) सर्ध-
विव्तित पग्राम-अर्थव्यवस्थाक्षा विकास ४६, (४)
विरिष्टं मेवाओत्रा प्रथ ४९, (५) सुविधानों और
मेवाओक्रा प्रवन्ध ५०, (६) परिवारोती अनेक्रविध
प्रदूत्तिद ५१५, (3) सामाजिद सुरक्षारा प्रचन्ध
५३, शिक्षा ओर बालनत्याण ५४, स्वास्थ्य और
३ ३--८४
१३
User Reviews
No Reviews | Add Yours...