देवी पूजा रहस्य देवी महात्म्य | Devi Pooja Rahasya Devi Mahatyam

Devi Pooja Rahasya Devi Mahatyam by स्वामी ज्योतिर्मयानंद - Swami Jyotirmyanand

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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

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रथ स्तर पर उठने वाली बाधाओं को विनष्ट करने के लिए वे अन्यन्त भयावह दुर्गा के रूप में प्रकट होती हैं| वे ही लौकिक पारलौकिक और आध्यात्मिक समृद्धि प्रदान कराने वाली महालक्ष्मी हैं । सरस्वती के रूप में यही देवी हंसारूढ़े हो अत्यन्त आकर्षक और शुभ्र रूप घारण कर अमरत्व प्रदान कराने वाले ज्ञान से साधक के अन्तर्मन को प्रकाशित करती हैं | देवीमाता की अनन्त विभूतियाँ और अभिव्यक्तियाँ हैं । कभी भयानक कभी मोहिनी और आकर्षक | कभी भ्रामक एवं प्रलोभी | कभी संहारक और कभी अत्यन्त उत्कृष्ट एवं प्रेरक रूपों में देवी माँ साधकों के समक्ष प्रकट होती हैं | जीवात्माओं को ईश्वर की ओर अधिक तीघ्र गति से प्रगति कराने के उद्देश्य से देवी माँ विभिन्न परिस्थितियों की चादर ओढ़ कर सामने आती हैं । करुणामयी कितनी ममतामयी हैं देवी अर नवरान्रि पूजा की महत्ता भारत में आश्विन मास के शुक्ल पक्ष में नवरात्र पूजा की जाती है। ईश्वर के मातृस्वरूप की पूजा क्रमश दुर्गा लक्ष्मी और सरस्वती के रूप में तीन-तीन दिनों की होती है | भारत में साधना के लिए यह समय अनुकूल है क्यों कि इस समय तक वर्षा समाप्त हो जाती है और आकाश में सुन्दर तारे टिमटिमाते रहते हैं । वातावरण में शान्त




User Reviews

  • Bharat Vyas

    at 2022-10-21 01:13:18
    Rated : 10 out of 10 stars.
    "Spiritual thought"
    Great book
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