पटेल | Patel
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
942 KB
कुल पष्ठ :
68
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)रे
कोई श्रस्तर नही हुआ क्योंकि पटेल को राजनैतिक जीवन से
कुछ सरोकार नहीं था।
अहमदाबाद में सन्ध्या के समय वकील कलब में इकट्ठू
होते थे और वही पर गांधी जी के बारे में भी चर्चा होती थी।
वे सब मिल कर के गांधी की हंसी उड़ाते ।
एक दिन गांधी जी ने बलव के सदस्यों के सामने अपना
भाषण दिया । जब गांधी जी भाषण कर रहे थे तो पटेल एक
कोने में ताश खेलते हुए हंस रहे थे ।
गांधी जी के शब्दों में जादू था जो लोगों को चुम्बक की तरह
अपनी ओर खेंच लेता था। पटेल भी इनकी श्रोर खिंचने लगे
और गांधी जी के दृढ़ विश्वास की प्रशंसा करने लगे। गांधी ने
गुजरात के राजनैतिक जीवन में नए प्रकाश डाछू दिए ।
पटेल ने श्रपना राजनेतिक जीवन गोघरा से आरम्भ
किया। सबसे पहले पठेल ओर गांधी का यहीं साथ
हुमा । है है
इस समय गुजरात में वेगार प्रथा जोरों पर थी ।
इस प्रथा को हटाने के लिए एक सम्मेलन हुआ जो गोधरा
कानफ्र स के नाम से प्रसिद्ध है । इसके सभापति गांधी जी थे।
बैगार प्रथा को हटाने के लिए तथा सम्मेलन के प्रस्तावों
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