अथर्व वेदीय पंचपटलिका | Atharv Vediya panchapatalika
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
722 KB
कुल पष्ठ :
59
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)पञ्मपटलिका | द
अद्तियाँ: (६), प्रपये पथामर [<], समा च मा [१९], झमि त्यम
देवम [१४], घाता दवांतु नः [१७], यत्ते देवा अकृणयन [रु], पूर्ण
पश्चात् [८२] इल्त्रेकर्े प्राजापत्यम | अप्खु ते राजन [८३], अपो दिब्याः
[रू], प्र पतेतः [११५] इति चतुरूचानि |
यश्षेन यक्षम [५), इदं खनामि [३८), यत्किचासी [७०] इति
पैचर्चानि 1
श्रन्वद्य न: (२०). पूर्वापरम १] अम्यचत [८२] इति पडर्चानि।
अम्ुत्रभूयात् [३३], ऊर्ज विश्नत् [६०], इदमुआय [१०७] इति
सप्तर्चानि।
विष्णोस कम [२६], लिरखिराजे: [५८), यद्द्य सवा (<७) इति
अष्टर्चानि
यथा बच्तम ५०] इति नव सूक्तम
समिद्धो अग्निइंपणा [७३] इत्येकाइशचे धर्मसूक्तम !
अपचिताम [७४] इति तदर्थे सक्तानि चत्वारि । अपचिक्ने-
चजम। इप्यापनयनम । घतोपायनम 1 गोप्बतीयम च ॥ह॥
डे
इति द्वितीयः पटलः समाप्त:।
१. श, इतच्द [मिविद्धेअ है] थेसूकतानि॥ २. शा, ब्जीयम ॥
8- अ, व, इति द्वितीयो प्यायः पटल: समाप्तः भ्ष
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