सिंघी जैन ग्रंथमाला कुवलयमाला भाग 1 | Singhi Jain Ghrant Mala Kuvalayamala Bhag 1

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Singhi Jain Ghrant Mala Kuvalayamala Bhag 1 by आदिनाथ नेमिनाथ उपाध्याय - Aadinath Neminath Upadhyay

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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

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आभार - प्रदर्शन प्राकृत भाषाकी इस अरुत महाकथाके प्रकाशनमें जो मुद्रण संबन्धी व्यय हुआ है, उसका अर्ध भाग, भारत सरकारने देनेकी कृपा की है। तदथथ सरकारके प्रति हम अपना धन्यवाद: पूर्वक सादर क्ृतज्ञ भाव प्रकट करना चाहते हैं । - मुनि जिनविजय




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