समयसार कलश टीका | Raj Maliya Kalash Tika
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
17 MB
कुल पष्ठ :
354
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
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वहुहि बहुरि | २१५ दों पर दोष
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रामका लाभ लाभ या अलाब | २१९ १७ पतजय परजाब
मे बोगी है योगी ». २५... पहल पृरणा.... चुज़ल वर्ग!
उदय भायो.... उदय आपो | २२०. २१ अंतीय मवतीक्
मरम मरम.... मरम मरण | १२३. ४ जडुभी भडुवी -
मरिं चूनो मरि चूर्ण | २९६ ११ अम्क्श शर्का
तुपयोग: त्युपमोग: | २९८... ५ कर्लूत्व कर्तत्व
साग्री सामग्री | ,;.. स्वाभावों स्वभाव
परेश्ों परसों 3 मिष्वात्व मिथ्गत्व
प्रमेमत: ममेत्यत: | २९९ २५ परकामना परकासना
विरीजने विराधघने | २३० ८ गणदेवांह गणबरदेवाँद
अर॑जऋ रंजक | २३१ १६ उयादि इयादि
फललिप्पु: . फललिप्सु: ना | १३३. २८ सुद्धिणे सुब्धि ण
यानी ग्यानी | २३४. २७ कतु रक्त
गढ़ मूह | २३८४ 1१५ कृति: श्रुति:
परपोष पदोध | २४० 3३२. चारित्र मोह एक. चारित्रमोहका
गज़ेंभणेन उजभणेन ! रेर ९. १ घाव पाबे
बनमें पुन . 9... २९, जअंजरनि जंजीरनि
परम भरम | २४४ १६ मुिवदात: .... युक्तिवदत:
रठोठी कूठोती #.. हे? देह देय
निवाऊँ जिवाऊँं | २४७. ९२२ विचरे विधारे
कसमति करामात | २५१... ६ जेनोंके जीवों के
कहही करता श५४. १९, बोध्ये चोद
यत्प्रमावत् बलाभावात ; २५६ १२ सथ्यग्दष्ी सम्पग्दी
स्त्रभावकों स्वमधि २५०... ७ त्वक्त। व्यक्ता
सं चुके सकुखे । २०८ २२ कइयो कह्यो
[| धृूदे , २६९. ६ पुदठज्ञान शुद्ध ज्ञान
भसूझत भरूसत | २६६. ६... कोब्र लहे कोसक है
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