ठाण | Thanam
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
47 MB
कुल पष्ठ :
1075
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)( १ )
कपफी पेनी हो गई है ! विनयशी लता, अम-परायशसा और युद के प्रति पुणे समपंथ माव ने इतकी प्रयति में बड़ा सहयोग
दिया है। यह बत्ति इनकी बचपन से हो है। जब से मेरे पास आए, मेंने इनको इस बुत्ति में छमश: चघेसानता ही पाई है ।
इनकी कार्य-क्षमता और कत्त व्यपरता ने मुझे बहुत सन्तोव दिया है ।
मैंने अपने संघ के ऐसे दिव्य सरघु-साषिधियों के बल-बूले पर ही आयम के इस गुरुतर कार्य को उठाया है। अब
मुझे विदयास हो गया है कि मेरे शिव्य साधु-सा ध्थियों के निःसवायं, विनीत एवं समर्पथात्मक सहयोग से इस बहत् कार्थ
को असाधारणकूप से सम्पम्त कर सकंगा ।
भगवान् महावीर की पचीसवी निर्वाण शताब्दी के अवसर पर उनकी वाणी को राष्ट्रभाषा हिन्दी में जनता के समक्ष
प्रस्तुत करते हुए मुझे अनिवेचनीय आनन्द का अनुभव होता है ।
जयपुर झाचायें तुलसी
२०३२, निर्वाण शताब्दी वर्ष
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