मिना | Mina
श्रेणी : कहानियाँ / Stories
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
4 MB
कुल पष्ठ :
218
श्रेणी :
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लेखक के बारे में अधिक जानकारी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)( ७. ])
इन्हीं दिनो लेसिंग कुछ नाटकों की रूपरेखा तैयार करन में
और उन्हें पृणरूप देने से भो परिश्रम करता रहा था । इस समय
के पूरे लिखे हुए उसके नाटकों में से कुछ के नाम दम नीचे
देते हैं ।
( ₹) यहूदी” (016 तुणठ७ा 2 । इस नाटक मे यहूदियों के
विरुद्ध जो लोकमत था उसे दूर करने का प्रयल्न किया दे |
(२) 'स्वतन्त्र-बिचारक” (067 768 । इसमें एक
स्वतन्त्र विचार का मनुष्य, जिसे धर्म 'और धर्म-पुरोहितो से बड़ी
घृणा थी, एक इंसाई पादरी की दया और त्याग के भावों को
देखकर अपनी भूल स्तरीकार करता है ।
इसके अतिरिक्त, कुद ऐसे भी नाटक थे जो रूपरेखा की
अवस्था मे हो रहे और कभो पृणणता को प्राप्त नही हुए ।
लाइष्ज्षिक को तरद बलिन में भी लेसिंग प्रसिद्ध साहित्यिक
की संगति से रहता था। इस प्रकार बद्द प्रसिद्ध फ्रॉसीसी
साहित्यिक वाल्टेयर ( ४0०168/6 ) से, जिसका उन दिनों राज-
दरबार से बड़ा सम्मान था, परिचित हो गया । इसके छाश्रय में
लेसिंग ने अनुवाद आदि का काम भी किया ! पर दोनो में कुछ
दी दिनो में बिगाइ हो गया । जैसा कि आगे चलकर स्पष्ट हो
जायगा, इस विरोध का लेसिंग के जीवन पर बड़ा भयानक
प्रभाव पढ़ा ।
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