कुणाल - गीत | Kunal Geet

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Kunal Geet by अज्ञात - Unknown

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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

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में जिस गोरव का अधिकारी , सो राज्यों से भी वध भारी | तज वसुधा की विञ्युता सारी मान्य बुद्धि मौ उसके मानी । हाथ | राज्य ही तृष्णा रानी ! ্তষ্দর্ম तनिक विदृष्णा छाऊ , इतले से ही में भर पाऊं। देख चुका, अब देखा जाऊँ ! होगी यह भी एक कहानी ! हाय 1 राज्य की तृष्णा रानी ! १७




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