जनपद झाँसी उत्तर प्रदेश की जनसंख्या : एक भौगोलिक अध्ययन | Janpad Jhanshi U.p Ki Janshankshaya Ek Bhaugolic Adhyayn

55/10 Ratings. 1 Review(s) अपना Review जोड़ें |
श्रेणी :
Book Image :  जनपद झाँसी उत्तर प्रदेश की जनसंख्या : एक भौगोलिक अध्ययन  - Janpad Jhanshi U.p Ki Janshankshaya Ek Bhaugolic Adhyayn

लेखक के बारे में अधिक जानकारी :

No Information available about सूर्यकान्त - Soory Kant

Add Infomation AboutSoory Kant

पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

(Click to expand)
कब हुयी लेकिन विविध तथ्यों के अवलोकन से यह स्पष्ट है कि जनसंख्या अध्ययन उतना ही प्राचीन है जितना जनसंख्या सम्बन्धी ज्ञान की जिज्ञासा मानव को उसके अस्तित्व काल से रही होगी क्योंकि मानव समाज के प्रारम्भिक समय से ही जानांकिकी के विषय क्षेत्र का अस्तित्व किसी न किसी रूप में अवश्य रहा हे! भले ही इसे विशिष्ट विज्ञान का दर्जा हांसिल न हो सका हो | अध्ययन बताता है कि ईशा पूर्व 480 में यूनान तथा ईशा पूर्व 435 में रोम में जनगणना की गयी थी! भारत में रामायण तथा महाभारत काल मे जनगणना के उल्लेख मिलते हैँ | कौटिल्य के अर्थशास्त्र एवं अबुलफजल के आइने अकबरी में भी जनगणना के स्पष्ट प्रमाण उपलब्ध है। यद्यपि जनसंख्या सम्बन्धी तमाम विखरे विचारों को वैज्ञानिक दृष्टिकाण प्रदान करने में जान ग्राण्ट (1662), थामस रावर्ट माल्थस (1796), खशिले गुइलार्ड (1885), अल्फ्रेड लोटका, हेलपटन, वाडलेपर्ल आदि विभिन्‍न विषय-विशेषज्ञों एवं. विचारकों ने अहम भूमिका निभाई, परन्तु भृगोलवेत्ताओं ने जनसंख्या को अपने अध्ययन क्षेत्र का आधार कब बनाया, यह एक विवादास्पद प्रश्न हे । वस्तुतः भौगोलिक अध्ययन में जिस प्रकार स्थलाकृति, जलवायु. मिद्ध, कृषि भूमि उपयोग आदि तत्वों का क्रमबद्ध विश्लेषण किया जाता हे, वास्तव मेँ इस प्रकार जनसंख्या भूगोल का अध्ययन नही हुआ । चांदना एवं सिदू (1980) ने भी यह माना कि भूगोलवेत्ताओं ने यद्यपि जनसंख्या वितरण एवं उसके स्वरूप को नाना रूपों मँ व्यक्त किया है फिर ` भी भूगोल में मानव के स्थान को निर्धारित करने में भूगोलविदों के ही विवाद का वर्णन मिलता है। वस्तुतः प्रारम्भिक भूगोल वेत्ताओं द्वारा मानव ज्ञान तथा कौशल की अपेक्षा प्राकृतिक वातावरण- तत्वों को अत्यधिक प्रभावशाली माना गया फलस्वरूप भूगोलवेत्ता्ओं का ध्यान सर्वप्रथम प्राकृतिक वातावरण के तत्वों की ओर ही आकर्षित हुआ, यद्यपि...




User Reviews

No Reviews | Add Yours...

Only Logged in Users Can Post Reviews, Login Now