राजकमल वर्ष-बोध | Rajkamal Varsh - Bhodh
श्रेणी : इतिहास / History
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
13 MB
कुल पष्ठ :
480
श्रेणी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)देश श्रौर जनता
मद्रास १००६ मध्यप्रान्त ` ९६४
'बम्बई' 8२७ प्रापाम ८8६
, वंगाल ८६& सीमा-प्रान्त +
, युक्त-प्रान्त ३०६ उदीसा १०६६
. पंजाव ८४७ सिन्ध यश्य
` बिहार ६४ दिल्ली “ ७१५६
१६४१ में हिन्दुस्तान मे २००३ कस्ते श्रौर
६,९६,८३२ गव थे । २७०३. कस्वोमें वह सब
# स्थान ्रागण् हैँ जिनकी श्रावादी ६००० से
` श्रधिक थीं श्रथवा जहाँ म्यूनिसिपेलिटियाँ छर छावनियाँ बनी थीं ।
' हिन्दुस्तान के इन गाँवों में ८७ प्रतिशत जनता रहती थी, कस्वों मे १३ `
::. प्रतिशत । कर्व श्रौर गाँवों सें रदने वाली जनता का हिसाब १८४१ से
'इंस प्रकार रहा दे :
.:. आसीण नागरिक
वषं गों से प्रतिशत कस्बों मे प्रतिशत
१८३१ , §०.९ ३.६
“ १६०१. ३०.१ ३.६
, १६११ & ०.६ ६.४
१६२१ ` मइ््य १०.२
. १६३१. ८३ ११
१६९४१. ४८७ १२३.
देश में उन शहरों की संख्या, जिनकी ध्ाबादी १ लाख से ऊपर दे
६ है । इन शहरों की कुल आबादी लगभग १ करोड ४४ लाख हे
तथा इनका प्रान्तवार हिसाब यदद हैः ( १३४१ की गणना के._झनजुलार )
पश्चिमी बंगाल ` २ युक्त-प्रान्त १२
.. ` मद्रास ` “ ६ मध्य-प्रान्त २
¦ वस्वै ˆ: '‰ - विहर .
_ पूर्वी पंजाब `` ३. . रियासतं , . १४
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