हमें नेपच्यून के बारे में कैसे पता चला ? | HOW DID WE KNOW ABOUT NEPTUNE

HOW DID WE KNOW ABOUT NEPTUNE by अरविन्द गुप्ता - ARVIND GUPTAआइज़क एसिमोव -ISAAC ASIMOVपुस्तक समूह - Pustak Samuh

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आइज़क एसिमोव -Isaac Asimov

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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

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उन्हें मिल नहीं रही थी। डारेह को तब एक अच्छा विचार सूझा - वो आकाश के ससे क्षेत्र के तारों का नक्शा लाएं। नक्शे पर सभी तारे होंगे ओर फिर उन्हें आकाश पर बस नए ग्रह जितना चमकीला तारा खोजना होगा। वो तारा, कागज के नक्शे पर नहीं होगा। इसका मतलब वो तारा नहीं, बल्कि ग्रह होगा। वो तभी उस क्षेत्र में आया होगा। नक्शा बनाते समय वो आकाश के सस क्षेत्र में नहीं होगा। इसके लिए तारों के एक विस्तृत नक्शे की जरूरत होगी। नहीं तो तारे उन स्थानों पर दिखेंगे जहां उन्हें नहीं होना चाहिए था। इसके लिए वाकई में एक अच्छे नक्शे की जरूरत थी। कट ह 9 पक ली. 1846 का सौर-मंडल फिर गल्‍ले और डारेह बेसब्री से वेधशाला की दराजों में नक्शों को खोजने लगे। भाग्यवश, उन्हें एक नया विस्तृत नक्शा मिला जो बहुत सावधानी से बनाया गया था। नक्शा आकाश के उसी क्षेत्र का था जिसका वो अध्ययन कर रहे थे। इस प्रकार का नक्शा वेधशाला में होगा इसका पहले से उन्हें कोई अंदाज नहीं था। वे दुबारा काम पर लोटे। उन्होंने फिर से काम शुरू किया। गल्‍्ले टेलिस्कोप में से देखकर हरेक तारे की स्थित बता रहा था ओर डारेह नक्शे को धीमी रोशनी में देख रहा था (जिससे प्रकाश से गल्ले को परेशानी न हो)। वो नक्शे में देखकर




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