धान की पैदावार बढ़ाने के तरीके | DHAAN KI PAIDAWAR BADHANE KE TAREEKE

DHAAN KI PAIDAWAR BADHANE KE TAREEKE by पुस्तक समूह - Pustak Samuhविभिन्न लेखक - Various Authors

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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश

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धान के कन्सा ला, फोरे से, पंदावार बाढ़थे, धान के कनन्‍सा ला फोरना जररी हे, अलग-अलग किसम के धान क॑े जरूरी (की ययन--साशा-- तक“. गन *नरयाााकिकााा.... लशलराार---- नाााााााता मारा पर गए रा गा... आरा 2... पाने? धरा पीला. कट तबात ता न न नानक चऊर हमर मख्य आहार हावे, धान के उपज ला बढ़ाना जरुरी हे। जोन हर अलग-अलग धान बोये से हो सकथ । जा जमीन के हिसाब से धान बोये के तरीका अपन जमीन अऊ पानी के समस्या ला देख के किसान अपन खेत में धान बोये के चनाव करथे । येकरे सेती दुनियां मे अलग-अलग किसम के धान बगरगे। जोन धान टंगहा जमीन में होथे ओला जादा पानी वाला जमीन मे बोय से पेदावार बने नई होय | अऊ जोन धान जादा पानी में बने होथे, ओला टंगहा जमीन मे बोय से पेदावार के बात तो बहुत दूर हे, बाल निकलेच ला छोड़ दी ही। एकर से एक किसम के धान नई बोय के हमला अपन खेत मे पुराना देशी बीजा ला चन कें बोना जरुरी हे। अगर हमर पास देशी धान के एक ठन बीजा घलो बांचे होही, तभो ले ओला बो के ओकर कन्ता ला फोर-फोर के जभाय के उपाय से हम एके मोसम मे या दूं मौसम में प्रा फसल ले सकत हन । (2)




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