आधुनिक हिन्दी - निबन्ध | Aadhunik Hindi Nibandh
श्रेणी : साहित्य / Literature
लेखक :
Book Language
हिंदी | Hindi
पुस्तक का साइज :
70 MB
कुल पष्ठ :
532
श्रेणी :
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लेखक के बारे में अधिक जानकारी :
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पुस्तक का मशीन अनुवादित एक अंश
(Click to expand)निबन्ध की परिभाषा और विश्येषताएँ
परिचय
निबन्ध गद्य की एक विशिष्ट विधा हैं। इसका उद्भव और विकाश आधुनिक
युग की देन है । वस्तुत: जिय विधा को হুল निबन्ध कहते हैं वह केंग्रेजी शब्द
(185७५) एस्से” का पर्यायवाची है । सुत्रसिद्ध लेखक मात्तेव (१(०ता&ं 80०) एस्से
के आदि लेखक माने जाते हैं द्विन्तु हम तक आते-आते पढ़ले की मान्यताओं में बहुत
कुछ परिवर्तव हो चुका है । फलस्वरूप निवन्ध का वर्ततान रूप इतना विकसित ओर
परिप्कृत ह क्लि इसे एक नयी शैली विधा के रूप में ग्रहण क्रिया जासे लगा हैं
अँग्रेजी के “एस्सेः की तरह हिन्दी निबन्धों ने कई करवट बदली हैं--दिन-प्रतिदिन
संबरता हुआ निवन्ध आज नयी ही सज-धज के साथ हमारे सामने हें । उसके मूल्य
मं साहित्य-मृजन की मूल-प्रवृत्ति साहित्यकार का आत्म-प्रकाशन! विद्यमान है ।
इस आत्म-प्रकाशन में लेखक के विचार और विश्वास, अनुभूतियाँ एवं आस्थाएँ आदि
विद्यमान रहती हैं। लेखक হুল सबका प्रक्राणशत समाज को गतिशील बनाने तथा उसे
आनन्द प्रदान करने के लिए करत है। इसीलिए निवन्ध की परिभाषा देते हुए
निवन्ध कै आदि जनक फ्रांमीसी साहित्यकार मान्तेन (4011217८) न कटा ই:
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अर्थान् निवन्ध आत्म-प्रकाणन अथवा आत्माभिव्यक्ति का एक प्रयास है ।
“मन्तन के समय मे निवन्ध का जो स्वरूपं था, वह बदल चुका है । आज
उमम वैज्ञानिकता और व्यवस्था का समावेश हो गया है । इसलिए एक प्रसिद्ध अँग्रेज
निबन्धकार की भाँति उसे अब तक मस्तिप्क वी उड़ान (1.0055 82115 ० 21710)
भी नहीं कहा जा सकता | आधुनिक युग में उसमें संक्षिप्तता का भी समावेश हो गया
है । उसमें कम शब्दों में अधिक बात कहने की वृत्ति का प्रवेश हो गया है । विषय की
अगाघ सीमा भी उसकी है । इसीलिए आज मअँग्रेजी समीक्षाकार हड्सन की परिमाषा
अधिक समीचीन प्रतीत होती है । उसने कहा ই:
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अर्थात् निबन्ध किसी विषय पर एक ऐसी रचना हे जिसकी प्रमुख विशेषतायें
हैं अपेक्षाकृत संक्षेप तथा विस्तार का प्रभाव ।
ए० सी० वेन्सब ने निवन्ध की परिभाषा देते हुए इसके अंतर्गत परिहास का
भी तत्व स्वीकार फिया है, क्योंकि हास-परिहास निवन्ध की रोचकता बढ़ा देने हैं ।
बेन्सव ते लिखा है :---
क प्रप्र ८००८८६८ 1881 95৮ 50200660208 10115, 39 (5585525038)
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